महाविद्यालय का संछिप्त इतिहास
जनपद सिद्धार्थनगर में इटवा तहसील काफी पिछड़ा हुआ था। यहां पर कोई भी महाविद्यालय न होने के कारण छात्र / छात्राओं को उच्च शिक्षा के लिए दूर-दूर भटकना पड़ता था। इस परिस्थिति में क्षेत्र की लड़कियां उच्च शिक्षा से वंचित रह जाती थीं। इस समस्या को दूर करने के उद्देश्य से दूरदर्शी विचार व सोच रखने वाले माननीय माता प्रसाद पांडेय जी ने एक महाविद्यालय खोलने का निर्णय लिया। 01 फ़रवरी 2004 को तत्कालीन मुख्यमंत्री उत्तर प्रदेश माननीय मुलायम सिंह यादव के कर कमलों से डॉ. राम मनोहर लोहिया महाविद्यालय का शिलान्यास महाविद्यालय के संस्थापक व प्रबंधक माननीय माता प्रसाद पाण्डेय (तत्कालीन मंत्री - श्रम एंव सेवा योजना, उ.प्र. सरकार ) की उपस्थिति में संपन्न हुआ।
महाविद्यालय दिन प्रतिदिन नए - नए पाठ्यक्रमों के साथ निरंतर शिक्षा की अलख जगा रहा है।